मोदी जी के नेतृत्व में भारत पुनः विश्व गुरु बनने के पथ पर अग्रसर – सांसद दर्शन सिंह चौधरी

जिला व्यूरो कमल राव चव्हाण:-

नर्मदापुरम। नई दिल्ली संसदीय सौंध में शिक्षा, महिला, बाल, युवा और खेल संबंधी संसदीय स्थायी समिति की बैठक सम्पन्न हुई। बैठक में होशंगाबाद नरसिंहपुर लोकसभा सांसद दर्शन सिंह चौधरी सम्मिलित हुए। बैठक में नेशनल एजुकेशन पॉलिसी को लेकर विस्तृत चर्चा हुई। संसदीय स्थायी समिति की इस महत्वपूर्ण बैठक में सांसद दर्शन सिंह चौधरी ने नेशनल एजुकेशन पॉलिसी की रिपोर्ट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकसित भारत संकल्प की पूर्ति के लिए वैश्विक स्तर पर शिक्षा के क्षेत्र में हमारे महान भारत देश की भूमिका को रेखांकित किया। सांसद दर्शन सिंह चौधरी ने कहा कि तक्षशिला और नालंदा, प्राचीन भारत के दो प्रमुख विश्वविद्यालय थे। ये दोनों दुनिया भर में शिक्षा के केंद्र थे। तक्षशिला को दुनिया का सबसे पहला विश्वविद्यालय माना जाता है। वहीं, नालंदा को तक्षशिला के बाद दुनिया का दूसरा सबसे प्राचीन विश्वविद्यालय माना जाता है। आत्म-गौरव की बात है कि हम पुनः विश्व गुरु बनने के पथ पर अग्रसर है। इस स्थिति में अब हमें ऐसी नेशनल एजुकेशन पॉलिसी लानी होगी जो भारत की सभ्यता संस्कृति की ओर वैश्विक समुदाय को आकर्षित कर सके। दुनिया से लोग भारत में शिक्षा ग्रहण करने के लिए आयें। विश्व गुरु बनना मोटे तौर पर राष्ट्रीय महत्वाकांक्षा की भावना मानी जाती है। यदि हम अपने अतीत, वर्तमान और भविष्य को देखें तो भारत अब इस आकांक्षा को पूरा करने में समर्थ है, हमारी सभ्यतागत संस्कृति ने हमें एक मजबूत दार्शनिक आधार प्रदान किया है। हमारी आध्यात्मिकता जहाँ एकम सत्, विप्र बहुधा वदंति (सत्य एक है, लेकिन बुद्धिमान लोग उसे अलग-अलग तरीके से वर्णित करते हैं। को पूरी दुनिया मानती है। अतः भारतीय उच्च शिक्षा के लिए ऐसा मसौदा तैयार किया जाएं।

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