जीवोदय बालिका गृह के दोषियों पर कार्रवाई करने के लिए सौंपा ज्ञापन

जिला व्यूरो कमल राव चव्हाण :-नर्मदापुरम जिले के जीवोदय बालिका ग्रह के दोषियों पर कार्रवाई करने के लिए सोमवार को विभिन्न संगठनों के पदाधिकारी व कार्यकर्ताओं ने पीपल चौक पर धरना दिया। रैली निकाल कर विरोध प्रदर्शन किया। साथ जिला प्रशासन को ज्ञापन देते हुए दोषियों पर तत्काल कार्रवाई करने की मांग की। प्रशासन ने भी शीघ्र कार्रवाई करने का आश्वाशन दिया है। ज्ञापन देने वालों ने प्रशासन को अवगत कराया है कि बाल अधिकार संरक्षण अयोग ने 19 अक्टूबर को जीवोदय बालिका गृह इटारसी की जांच कर उसको किशोर न्याय अधिनियम के तहत दोषी माना था और अपनी जांच रिपोर्ट कलेक्टर को सौंपकर एफआईआर करने के निर्देश दिये थे। मामले में बाल कल्याण समिति ने भी कलेक्टर नर्मदापुरम से जीवोदय बालिका गृह इटारसी पर एफआईआर करने की अनुसंशा की है।

 

साैंपे गए ज्ञापन में अवगत कराया है कि मिशनरी द्वारा संचालित जीवोदय बालिका गृह इटारसी में बच्चों के साथ धर्मान्तरण एवं संरक्षण में लापरवाही लगातार की जा रही है वर्तमान घटनाक्रम में 21 सितंबर को एक नाबालिग बालिका गायब हो गई और गृह द्वारा इसकी एफआईआर पुलिस में दर्ज नहीं कराई गई बल्कि 23 सितंबर को एक इसाई समाज के एक परिवार को उक्त बालिका को पंचनामा बनाकर सौंप दिया गया जो कि जेजे एक्ट के विरुद्ध है।

 

जीवोदय इटारसी संस्था विगत 20 वर्षों से इस क्षेत्र में कार्यरत है उन्हें सारे नियमों की पूर्ण जानकारी उसके बाद भी बच्ची को बाल अभचारी के परिवार को सौंपना और नाबालिग के परिवार को सूचना नहीं देना इसकी कार्यशैली पर प्रश्न खड़े करता है। जब पीड़ित बालिका के पिता ने संस्था से बार.बार जानकारी ली तो संस्था ने जानकारी नहीं दी तब उन्होंने इसकी शिकायत बाल अधिकारी संरक्षण आयोग भोपाल में की वहां से पत्र आने के बद बच्ची को 4 अक्टूबर को विशेष किशोर पुलिस ने बच्ची के रैकस्यु कर वापस जीवोदय संस्था में रखवा दिया परंतु बच्ची की कोई काउंसलिंग नहीं हुई है कि उसके साथ इतने दिनों में क्या घटा इसकी जानकारी भी संस्था ने बच्ची से नहीं ली है। पीड़ित पिता ने फिर मामले में बाल आयोग से शिकायत की तब बाल आयोग के दो सदस्यीय दल नर्मदापुरम आए और संस्था की जांच कर बच्ची की काउंसलिंग की और संस्था को दोषी मानते हुए संस्था पर 22 अक्टूबर को एफआईआर दर्ज कराने के निर्देश दिये गये उसके बाद भी संस्था पर कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई है। इस सारे घटनाक्रम में जीवोदय संस्था के द्वारा लापरवाहीपूर्वक एवं गैर जिम्मेदाराना रवैया अपनाया गया है जिससे सर्व हिन्दू समाज एवं हिन्दू संगठनों में भारी नाराजगी है एवं तत्काल जीवोदय बाल गृह इटारसी पर एफआईआर दर्ज कराने की मांग की है।

 

 

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